छाता लगाकर जंतर मंतर पहुंचे सत्याग्रह करने वाले किसान - रामपाल जाट

     नई दिल्ली। बरसात में भी छाता  लगाकर पहूंचे किसान। अवस्था व विकलांगता के कष्टों को झेलते हुए भी सत्याग्रह के लिए जंतर-मंतर पर 5 जुलाई से सत्याग्रह आरम्भ हुआ। 6 जुलाई से सत्याग्रह करने वाले किसानों को प्रतिदिन अभिरक्षा में लेकर पुलिस थाना संसद मार्ग में 6:30बजे तक निरूद्ध रखा जाता आ रहा है।

     न्यूनतम समर्थन मूल्य पर खरीद की गारंटी का कानून बनाने की मांग को लेकर सत्याग्रह शूरू हो रखा है। जिसमें किसानों द्वारा जंतर-मंतर पर सत्याग्रह के लिए हाथों में छत्थे लेकर सत्याग्रह शूरू करने को निकल पड़े। बारीश के बावजूद भी किसान हिम्मत के साथ सत्याग्रह पर पहुंचे। इससेे जाहिर होता है कि सत्य, अहिंसा, शांति के मार्ग पर चलने वाले विकलांगता के साथ वृद्ध किसानों को अनुमति नहीं देना कहीं ना कहीं किसानों - किसानों में भी भेदभावपूर्ण रवैया दिखाई दे रहा है।

     राजस्थान के जयपुर से जंतर-मंतर, नई दिल्ली के लिए 242 वें दिन किसान महापंचायत के राष्ट्रीय अध्यक्ष रामपाल जाट के नेतृत्व में "जंतर-मंतर" पर 26 वे दिन भी सत्याग्रह आरंभ रहा। जंतर-मंतर पर पहुंचते बड़ी संख्या में तैयार पुलिस बल ने सत्याग्रहियों को अभिरक्षा में लेकर पुलिस थाना संसद मार्ग पर निरुद्ध किया। आज जंतर-मंतर को पुलिस छावनी बनाने के साथ ही समस्त व्यवस्था को चाक चौबंद बनाया गया था। वर्ग चेतना समिति एवं राजस्थान कुम्भाराम आर्य समिति के अध्यक्ष सत्याग्रह में सीकर जिले के भारणी गांव के 84 वर्षीय स्वामी चेतनानन्द, 55 वर्षीय हरियाणा के रामलावास चरकी दादरी के स्वामी नरेंद्र नेहरा हाथ ओर की विकलांगता के भिन्ता 9 दिन अभिरक्षा  69 वर्षीय मुसुद्दीलाल यादव मलवास अलवर नरेंद्र चौपड़ा झाग 63 बत्तीलाल बैरवा नारोली डांग करौली 62 वर्षीय, रामकिशोर दाधीच60, रामाकिशन स्याक 53 हरजीराम घटाला 46,रामेश्वर प्रसाद चौधरी ग्राम ठिकरिया टोंक 30 अभिरक्षा में लेकर पुलिस थाना संसद मार्ग में निरूद्ध रखा जाता रहा है।

     सत्याग्रहि कमल निवास से पैदल ही गुड़गांव के राजीव चौक तक पैदल, राजीव चौक से इफको चौक मेट्रो स्टेशन तक बस से तथा इफको चौक मेट्रो स्टेशन से मेट्रो ट्रेन में बैठे कर पटेल चौक मेट्रो स्टेशन तक फिर वहां से "जंतर-मंतर" तक पैदल चलकर पहुंचते हैं। अवस्था व विकलांगता के कष्टों को झेलते हुए आने - जाने का क्रम चलाया हुआ है। न्युनतम समर्थन मूल्य को गारंटीड कानून बनाने व तीनों कृषि कानूनों को निष्प्रभावी बनाने की मांग को लेकर 5 जुलाई 2021 से जंतर-मंतर पर किसान सत्याग्रह करने लगातार आ रहें हैं ।