जॉन्स हॉपकिन्स यूनिवर्सिटी के ताजा आँकड़ों के मुताबिक़ अमरीका में अब तक कुल तीन हज़ार आठ (3008) लोगों की मौत की पुष्टि हुई है. इसमें सबसे अधिक मौत न्यूयॉर्क सिटी में हुई हैं. यहां 914 लोगों की मौत हुई है. न्यूयॉर्क सिटी के मेयर बिल डे ब्लासियो कई बार केंद्रीय सरकार के प्रयासों को लेकर सवाल उठा चुके हैं. 23 मार्च को दिए अपने एक बयान में उन्होंने कहा था कि न्यूयॉर्क में कोरोना वायरस का संक्रमण ख़तरनाक होता जा रहा और आने वाले दस दिनों के भीतर मेडिकल सप्लाई की कमी हो सकती है.
न्यूयॉर्क में कोरोना वायरस के ख़तरे को देखते हुए अमरीकी नौ सेना का एक हॉस्पिटल शिप 'द कंफ़र्ट' न्यूयॉर्क भेजा गया है. यह शिप वर्जिनिया के नॉरफॉल्क नेवी बेस से न्यूयॉर्क के लिए रवाना हुआ. इस शिप को न्यूयॉर्क तक पहुंचने में आठ दिन का समय लगेगा. इस शिप में 12 कमरे ऐसे हैं जो आधुनिक स्वास्थ्य उपकरणों से पूरी तरह लैस हैं. इसके साथ ही इस शिप में एक हज़ार से अधिक बिस्तरों की व्यवस्था है. न्यूयॉर्क के मेयर ने बताया, "इसका मतलब ये है कि बहुत जल्दी ही मदद आने वाली है और उसके बाद हम लोगों की ज़िंदगियों को बचाने का काम कर सकेंगे."
सीएनएन की ख़बर के मुताबिक़, ऐसा माना जा रहा है कि यह शिप कोरोना वायरस संक्रमित मरीज़ों का इलाज नहीं करेगा. बल्कि इसका इस्तेमाल उन लोगों के इलाज के लिए किया जाएगा जो कोरोना वायरस से नहीं लेकिन किसी और बीमारी के जूझ रहे हैं. न्यूयॉर्क सिटी अमरीका में सबसे अधिक प्रभावित इलाक़ों में से है. ऐसी आशंका है कि अगर कोरोना वायरस संक्रमण यूं ही बना रहा तो न्यूयॉर्क को मई तक अपनी मौजूदा क्षमता से तीन गुना हॉस्पिटल बेड की ज़रूरत होगी.