"यह इंदौर है मेरी जान यहां मोहब्बत बरसती है"

News from - राजेश निगम, इंदौर (मध्य प्रदेश प्रदेशाध्यक्ष - भारतीय पत्रकार सुरक्षा परिषद) 

     इंदौर। मालवा के माटी की खुशबू, खूबसूरत इंदौर शहर देश का सफाई में  6 वर्षों से शतक प्रथम आने वाला ऐसा  सुंदर शहर है जिसे देखने के लिए देश-विदेश से लोग आते हैं और यहां के खान-पान के स्वाद का लुत्फ़ लेकर हर चीज की तारीफ के फुल बांधते हैं।

     इसका विशेष श्रेय  आपसी तालमेल इंदौर नगर निगम, इंदौर के अधिकारी कर्मचारी एवं जनता को तो जाता है। अन्य विभागों का भी विशेष योगदान  इंदौर की पुलिस है। इसका खूबसूरत नजारा आज कनाडिया थाना इंदौर में देखने को मिला, जहां प्रधान आरक्षक योगेश झोपे का जन्मदिन केक काटकर और माला पहना कर ,धूमधाम से मनाया जा रहा था। 

     थाने में पदस्थ सभी अधिकारी एवं सिपाही योगेश को दिल बधाइयां एवं शुभकामनाएं दे रहे थे। मैंने जब थाने के प्रभारी जगदीश प्रसाद जमरे से इस जन्मदिन के कार्यक्रम के बारे में जो अपने व्यस्त कार्यक्रम के कारण अनुपस्थित थे। उनसे फोन पर  योगेश झोपे के जन्मदिन के कार्यक्रम के बारे चर्चा करी तब उन्होंने अपनी अनुपस्थिति पर खेद जताते हुए बताया : मैं अपने इस थाने का मुखिया (प्रमुख) होने के नाते स्टॉफ के समस्त पदस्थ व्यक्ति के चेहरे पर खुशी देखना मेरा दायित्व बनता है।

      जिस किसी भी थाने में पदस्थ व्यक्ति का जन्मदिन होता है, शाम के रोजकाज के बाद हम सब मिलकर उसका जन्मदिन धूमधाम से मनाते हैं। उन्होंने योगेश झोपे के बारे में बताया योगेश हमारा कर्मठ इमानदार सिपाही है। जो सीसीटीवी कैमरे कि छानबीन करने में एक्सपर्ट है, उन्हें कई चोरी पकड़ने का श्रेय जाता है। 

     जब इस विषय में पदस्थ पिंकी चौहान से चर्चा करी तब उन्होंने भी बहुत अच्छी बात बोली हम अपनी ड्यूटी का करीब 18 घंटे स्टाफ के साथ ही गुजारते हैं, परिवार के साथ बहुत कम समय गुजर पाता है।  हमारा स्टाफ ही हमारा परिवार है। इसलिए अपनी खुशियां अपने स्टाफ के साथ मनाते रहते हैं। खुशियां बांटने से बढ़ती है।  

     इन सब बातों से एक बड़ा निष्कर्ष यह निकल के आता है। इस तनावपूर्ण माहौल में हम जहां काम करते हैं वहां के व्यक्तियों से प्यार मोहब्बत आपसी दुख सुख बात कर एक दूसरे का सहयोग करें। तनाव से तो वैसे ही मुक्ति मिल जाएगी। खासकर उन विभागों में तो आपसी भाईचारा बहुत जरूरी है, जहां लेन-देन को लेकर हमेशा तनाव बना रहता है। 

     एक दूसरे की सफलता को देखकर के मन में इर्षा पैदा होती है..  और अंदर ही अंदर एक दूसरे कि सफलता पर  अपने ही साथी को नीचा दिखाना चाहते हैं। वही जिस किसी भी विभाग का प्रमुख स्वस्थ मानसिकता का होगा, वहां खूबसूरत वातावरण अपने आप बन जाएगा। विभिन्न प्रकार के फूलों से ही खूबसूरत गुलदस्ता बनता है। हमारा देश एक खूबसूरत गुलदस्ता बन रहा है, देश बदल रहा है..  हमारी ओर से भी योगेश झोपे जी को जन्मदिन की हार्दिक एवं अनंत शुभकामनाएं!